UP: गोरखपुर पुलिस की स्पेशल टीम ने रवि किशन को धमकाने वाले शख्स को पहनाई हथकड़ी
UP: गोरखपुर से बीजेपी सांसद और भोजपुरी फिल्म सुपरस्टार रवि किशन शुक्ला को जान से मारने की धमकी देने वाले आरोपी को पंजाब से गिरफ्तार कर लिया गया है. यह गिरफ्तारी गोरखपुर से पंजाब पहुंची एक स्पेशल पुलिस टीम ने की. आरोपी की लोकेशन ट्रेस करते हुए पुलिस उस तक पहुंची और पिछले सोमवार को उसे गिरफ्तार कर लिया. पुलिस अधीक्षक (सिटी) अभिनव त्यागी ने बताया कि आरोपी की पहचान पंजाब के लुधियाना के फतेहगढ़ मोहल्ला बग्गा के रहने वाले अजय कुमार यादव के रूप में हुई है.

अजय ने करीब पांच दिन पहले रवि किशन को जान से मारने की धमकी दी थी और कहा था कि अगर वह चुनाव प्रचार के लिए बिहार आए तो वह उसे गोली मार देगा. उस समय आरोपी ने खुद को बिहार के आरा जिले के जवनिया गांव का रहने वाला बताया था. इस मामले में सांसद के पर्सनल सेक्रेटरी शिवम द्विवेदी ने रामगढ़ ताल पुलिस स्टेशन में केस दर्ज कराया था.
स्पेशल पुलिस ऑफिसर (City) अभिनव त्यागी ने बताया कि पूछताछ के दौरान अजय कुमार यादव ने बताया कि वह कभी बिहार नहीं गया और पंजाब में धोबी का काम करता था. उसे अपनी गलती का पछतावा है और वह माफी मांग रहा है. हालांकि, पुलिस उससे पूछताछ कर रही है. धमकी देने के साथ-साथ उसने भगवान राम और राम मंदिर के बारे में भी आपत्तिजनक बातें कही थीं. उसने खेसारी लाल यादव के बयान का भी समर्थन किया था.
एसपी सिटी ने बताया कि आरोपी के खिलाफ कानूनी कार्रवाई (legal action) की जा रही है. आगे की प्रक्रिया के बारे में जानकारी दी जाएगी. इस मामले में सांसद रवि किशन पहले ही कह चुके थे कि उन्हें धमकी देने वाले को बख्शा नहीं जाएगा. योगी-मोदी की डबल इंजन सरकार उसे ढूंढ निकालेगी. वह बिहार में प्रचार करेंगे. वह धमकी देने वालों से डरेंगे नहीं. इस मामले में सांसद के पर्सनल सेक्रेटरी शिवम द्विवेदी ने कहा कि वह पुलिस के प्रयासों की सराहना करते हैं. आरोपी को गिरफ्तार कर लिया गया है.
रवि किशन ने क्या कहा: गौरतलब है कि धमकी मिलने के बाद रवि किशन ने भी अपने सोशल मीडिया पेज पर प्रतिक्रिया दी थी. उन्होंने लिखा था कि उन्हें फोन पर गालियां दी गईं. उनकी मां के खिलाफ भी अश्लील भाषा का इस्तेमाल किया गया. उन्हें जान से मारने की धमकी दी गई. भगवान श्री राम के खिलाफ भी अपमानजनक शब्दों का इस्तेमाल किया गया. यह न केवल उनकी व्यक्तिगत गरिमा (personal dignity) पर हमला है, बल्कि हमारे विश्वास और भारतीय संस्कृति के मूल सिद्धांतों पर भी हमला है. यह समाज में नफरत फैलाने की कोशिश है. इसका जवाब लोकतांत्रिक तरीके से दिया जाएगा.



